(लखनऊ UP)27नवम्बर,2024.
झांसी मेडिकल कॉलेज हादसे की जांच के लिए गठित की गई कमेटी ने अपनी रिपोर्ट शासन को सौंप दी है। मालूम हो कि महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज में 15 नवंबर को आग लगने से 10 बच्चों की मौत हो गई थी।
उत्तर प्रदेश के सभी चिकित्सा संस्थानों एवं मेडिकल कॉलेजों की अग्नि सुरक्षा को लेकर नए सिरे से ऑडिट शुरू कर दी गई है। पूर्व में हुए ऑडिट में बताई गई खामियों को चिह्नित करते हुए अन्य जरूरी बिंदुओं को भी इसमें शामिल किया गया है। सभी संस्थानों के निदेशकों और कॉलेजों के प्रधानाचार्यों को चेक लिस्ट भेजी गई है। चेतावनी दी गई है कि संबंधित खामियां दूर नहीं हुई और भविष्य में किसी तरह की घटना हुई तो वे खुद जिम्मेदार होंगे।
झांसी अग्निकांड के बाद उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने नए सिरे से सभी चिकित्सा संस्थानों एवं मेडिकल कॉलेजों की फायर व सेफ्टी ऑडिट कराने के निर्देश दिए थे। इसके तहत चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण महानिदेशालय की ओर से अग्नि सुरक्षा विभाग और बिजली विभाग की ओर से की गई ऑडिट रिपोर्ट की समीक्षा की गई। इसमें चिह्नित की गई खामियों और सुरक्षा से जुड़े अन्य बिंदुओं को जोड़ते हुए नए सिरे से चेक लिस्ट तैयार की गई है। इसमें अग्नि सुरक्षा बचाव के एहतियात के तौर पर सभी बिंदुओं को समाहित कर जवाब मांगा गया है। संस्थान के निदेशकों एवं कॉलेजों के प्रधानाचार्यों को चेक लिस्ट भेजते हुए चेतावनी भी दी गई है।
संस्थानों एवं कॉलेजों से पूछे गए प्रमुख सवाल:
- क्या कोई उपकरण एक्सटेंशन बोर्ड से चल रहा है?
- क्या छह माह में इलेक्ट्रिक लोड ऑडिट हुई है?
- क्या फायर अलार्म और अन्य सुविधाओं की जांच की गई है?
- क्या इमरजेंसी लाइट की व्यवस्था है?
- क्या जहां तार जोड़े गए हैं, उसकी सही तरीके से पैकिंग किया गया है?
- क्या आईसीयू, ओटी, सहित अन्य अहम इलाके में ऑटोमेटिक स्प्रिंकलर सिस्टम लगा है?
- क्या फायर फाइटिंग सिस्टम की एक्सपाइरी तिथि जांच ली गई है?(साभार एजेंसी)-