संगमनगरी में संगीत की तीन पीढ़ियों का संगम,पं. शिवनाथ के सितार वादन पर झूमे लोग

UP / Uttarakhand

(प्रयागराज UP)22दिसम्बर,2024.

नवभारत निर्माण समिति व बनारस लिट फेस्ट के संयुक्त तत्वावधान में जिला पंचायत सभागार में रविवार को सूर्यकांत त्रिपाठी निराला, महादेवी वर्मा, सुमित्रानंदन पंत और फिराक गोरखपुरी की स्मृति में वातायन निराला महोत्सव का आयोजन किया गया। इसमें देश के जाने माने संतूर वादक और पद्मश्री शिवनाथ मिश्र ने सितार वादन की प्रस्तुति दी तो लोग झूमने के लिए मजबूर हो गए। इस दौरान तीन पीढ़ियों का संगम भी देखने को मिला।

कार्यक्रम में पंडित शिवनाथ मिश्र उनके पुत्र देवव्रत मिश्र और पौत्र कृष्णा मिश्रा ने एक साथ संगीत की प्रस्तुति देकर सबको मंत्रमुग्ध कर दिया। मीडिया से बातचीत करते हुए पंडित शिवनाथ मिश्र ने कहा कि संगीत ही मेरी साधना और संगीत ही मेरा जीवन है। जब तक उनकी सांस चलेगी तब तक वह संगीत की साधना करते रहेंगे। कहा कि जीवन भी एक संगीत ही है। बिना संगीत के जीवन भी नीरस हो जाता है। महाकुंभ के मौके पर आयोजित इस कार्यक्रम में आने का सौभाग्य मिला है।

उनके पुत्र सितार वादक पं. देवव्रत मिश्र ने कहा कि संगीत ही हमारे जीवन की साधना है। अब तक हम पिताजी शिवनाथ मिश्र के साथ पूरे विश्व के 40 से 50 देशों में पांच हजार से अधिक कार्यक्रम कर चुके हैं। संगीत यात्रा के माध्यम से वह पृथ्वी का 25 बार चक्कर लगा चुके हैं। हमारी तीन पीढ़ियां संगीत में रम गई हैं। शिवनाथ मिश्र, देवव्रत और कृष्णा मिश्र के रूप में तीसरी पीढ़ी सितार वादन कर रही है। यह बनारस घराना ही ऐसा आश्चर्य जनक कार्य कर सकता है जो अपने आप में एक दुर्लभ है। तीसरी पीढ़ी के पं. कृष्णा मिश्र ने कहा कि वह दादा और पिता की विरासत को पूरी मेहनत और लगन के सात आगे बढ़ाने का कार्य कर रहे हैं। संगीत और सितार ही हमारे जीवन का मुख्य लक्ष्य और प्राणवायु है(साभार एजेंसी)

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