भित्ति चित्रों की जरिये दर्शाई जाएगी श्रीराम के मर्यादा पुरुषोत्तम बनने की यात्रा, 80 म्यूरल लगेंगे

UP / Uttarakhand

(अयोध्या UP)09दिसम्बर,2024.

राममंदिर में परकोटे का निर्माण सबसे ज्यादा चुनौतीपूर्ण है। इसमें मंदिर निर्माण से ज्यादा पत्थरों का इस्तेमाल हो रहा है। इसका बजट भी मंदिर निर्माण से ज्यादा है। मंदिर निर्माण में जहां 600 करोड़ खर्च होने का अनुमान है तो वहीं परकोटा निर्माण में 800 करोड़ के खर्च का अनुमान लगाया गया है। परकोटे के दीवारों पर 80 म्यूरल यानी भित्तिचित्र भी बनाए जा रहे हैं। इन भित्ति चित्रों के जरिये राम की मर्यादा व आदर्श का दर्शन श्रद्धालु कर पाएंगे।

राममंदिर में 800 मीटर लंबे परकोटे का निर्माण हो रहा है। परकोटे की ऊंचाई 14 फीट होगी। परकोटे में ब्रांच यानी कांस्य के 80 म्यूरल बनाए जा रहे हैं। यह म्यूरल आइकोनोग्राफी तकनीकी से बनाए जा रहे हैं। इससे बने म्यूरल लंबे समय तक जीवंत प्रतीत होते हैं। राममंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने बताया कि परकोटा में बनने वाले 80 म्यूरल में राम के आदर्श व मर्यादा की झलक दिखेगी। यहां उनके श्रीराम वे मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम बनने की पूरी कहानी दर्शाई जाएगी। इसके अलावा लोअर प्लिंथ में बनने वाले म्यूरल में रामायण के सात कांडों 125 प्रसंग उकेरे जाएंगे। हर प्रसंग का हिंदी व अंग्रेजी में अनुवाद भी रहेगा ताकि देश व विदेश से आने वाले श्रद्धालु इसका मर्म समझ सकें।

राममंदिर में अब तक लग गए 18 दरवाजे:
राममंदिर में अब तक 18 दरवाजे लग गए हैं। जिसमें से भूतल का दरवाजा स्वर्ण जड़ित हैं। राममंदिर के ट्रस्टी डॉ. अनिल मिश्र ने बताया कि राममंदिर में कुल 46 दरवाजे लगने हैं। जिसमें से अब तक 18 लगाए जा चुके हैं, जबकि 14 अन्य दरवाजे बनकर तैयार हैं। शेष दरवाजों का निर्माण हैदराबाद के कारीगर कर रहे हैं। टीकवुड से दरवाजों का निर्माण हो रहा है। सभी दरवाजों का निर्माण कार्य दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा।(साभार एजेंसी)

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